US President Joe Biden: बीते दिन अमेरिका के जार्डन में हमले के बाद व्हाइट हाउस ने सोमवार को बयान जारी किया है। व्हाइट हाउस ने कहा कि, अमेरिका ईरान के साथ या क्षेत्र में व्यापक युद्ध नहीं चाहता। अमेरिकी प्रशासन का मानना है कि, जॉर्डन में अमेरिकी सैनिकों को निशाना बनाने के लिए एक ड्रोन जिम्मेदार था। वहीं, जॉर्डन मामले को लेकर राष्ट्रपति जो बाइडन ने कहा कि, अमेरिका इसका जवाब देगा।
हमारे लिए पिछली रात काफी कठिन
अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने साउथ कैरोलिना में कहा कि, 'पश्चिम एशिया में हमारे लिए पिछली रात काफी कठिन गुजरी। हमने अपने तीन बहादुर सैनिकों को खो दिया।' आपको बता दें कि, जार्डन में अमेरिकी सैन्य ठिकाने पर ड्रोन से हमले में तीन अमेरिकी सैनिकों की मौत पर ईरान के विदेश मंत्रालय ने जवाब दिया है। मंत्रालय ने कहा कि, हमले में तेहरान का कोई हाथ नहीं है। उन्होंने कहा कि, संघर्षरत समूह अपने खुद के सिद्धांत और प्राथमिकता के आधार पर फैसला लेते हैं। वह फलस्तीन और वहां के लोगों का किस तरह समर्थन करेंगे यह फैसला उनका अपना है।
उन्होंने कहा कि 'अमेरिका अपने चुने गए तरीके और समय के हिसाब से उन्हें जवाबदेह ठहराएगा। इस बीच पूर्वी सीरिया में ईरान समर्थित आतंकियों की ओर से अपने ठिकानों को खाली कर दूसरी जगह जाने की बात सामने आ रही है। उन्हें भय है कि, अमेरिका हवाई हमले कर उन्हें निशाना बनाएगा। ये क्षेत्र मयादीन और बौकामल के गढ़ हैं।
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इजरायल और हमास के बीच युद्ध
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि, सात अक्टूबर के बाद इजरायल और हमास के बीच युद्ध छिड़ने के बाद से ईरान समर्थित आतंकियों की ओर से अमेरिकी सेना पर हमले बढ़ गए हैं। ये समूह इजरायल के गाजा पर हमले का विरोध कर रहे हैं। उन्होंने युद्ध शुरू होने के बाद से अमेरिकी सैनिकों पर 150 से अधिक हमले किए हैं।
पहला बड़ा हमला 18 अक्टूबर को इराक में मौजूद अमेरिकी सैनिकों पर बोला गया था। इसके बाद से कई हमले किए गए, वहीं बीते रविवार को किए गए हमले से पहले 20 जनवरी को बड़ा हमला बोला गया था। इसमें ईरान के मिलिशिया समूह ने इराक में मौजूद अमेरिकी हवाई बेस पर कई मिसाइलें दागी थीं।
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