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Rajasthan: पेट्रोल-पंप संचालकों की हड़ताल दूसरे दिन भी जारी, इन मांगों पर अड़े डीलर

Rajasthan petrol pump Strike
Rajasthan-petrol-pump-Strike Rajasthan petrol pump strike: पेट्रोल और डीजल पर वैट कम करने की मांग को लेकर राजस्थान भर के पेट्रोल पंप डीलरों ने गुरुवार को लगातार दूसरे दिन सुबह 10 बजे से शाम 6 बजे तक पेट्रोल पंप बंद रखकर सांकेतिक हड़ताल की। इंडियन ऑयल, हिंदुस्तान पेट्रोलियम और भारत पेट्रोलियम के पंप सुबह 10 बजे से शाम 6 बजे तक बंद रहे। राजस्थान में बुधवार और फिर गुरुवार को सुबह 10 बजे से शाम 6 बजे तक बंद रहेंगे। हनुमानगढ़ पेट्रोलियम डीलर्स एसोसिएशन के कोषाध्यक्ष विनीत गणेशगढ़िया के अनुसार सुबह 10 से शाम 6 बजे तक पंप बंद रहने से सरकार को प्रतिदिन 28 लाख रुपए के राजस्व का नुकसान हो रहा है। इस हड़ताल के कारण जिले के 130 से अधिक पेट्रोल पंप बंद हैं। गुरुवार को शाम छह बजे से पहले ही कुछ वाहन चालकों ने अपने वाहन पेट्रोल पंप पर खड़े कर दिये। कुछ दोपहिया वाहन मालिक अपने वाहनों को पैदल ही पेट्रोल पंप तक ले जाते दिखे। हालांकि कई वाहन चालकों ने गुरुवार सुबह 10 बजे से पहले ही अपने वाहनों में पेट्रोल-डीजल भरवा लिया था, लेकिन जो लोग बाद में आए उन्हें ईंधन नहीं दिया गया।

हड़ताल की वजह से लोग परेशान

हड़ताल (Rajasthan petrol pump strike) की वजह से कई लोगों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा। पेट्रोल पंप संचालकों ने शुक्रवार से अनिश्चितकाल के लिए पंप बंद कर हड़ताल पर जाने की घोषणा की है। हनुमानगढ़ पेट्रोलियम डीलर्स एसोसिएशन के पदाधिकारियों के मुताबिक, उन्होंने हड़ताल से दो हफ्ते पहले ही सरकार को अपनी 'जायज मांगें' बता दी थीं, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई। इसलिए मजबूरन उन्हें 8 घंटे तक पंप बंद रखने का फैसला लेना पड़ा। इस दौरान न तो पेट्रोल बिका और न ही पेट्रोल-डीजल खरीदा गया। ये भी पढ़ें..वाराणसी में इस दिन अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट स्टेडियम की आधारशिला रखेंगे PM मोदी

वैट कम करने से आम जनता को होगा बड़ा फायदा

एसोसिएशन के एक सदस्य ने कहा, अगर इसके बाद भी सरकार हमारी मांगें पूरी नहीं करती है तो शुक्रवार से राज्य भर के पेट्रोल पंप अनिश्चितकाल के लिए बंद कर दिये जायेंगे। इसके लिए राजस्थान सरकार जिम्मेदार होगी। पेट्रोल पंप संचालकों का कहना है कि देश में सबसे ज्यादा वैट राजस्थान में वसूला जा रहा है। पड़ोसी राज्यों में पेट्रोल की कीमत बहुत कम है, इसलिए सीमावर्ती इलाकों में रहने वाले लोग पेट्रोल और डीजल भरवाने के लिए पड़ोसी राज्यों में जाते हैं। एसोसिएशन के एक अन्य सदस्य ने कहा, इससे सरकार को भी राजस्व का नुकसान हो रहा है। अगर सरकार वैट कम करती है तो इसका सबसे ज्यादा फायदा आम जनता को होगा। वैट घटने से राज्य में पेट्रोल और डीजल की कीमत में 9 से 15 रुपये की कमी आएगी और कुल कीमत 100 रुपये तक कम हो जाएगी। (अन्य खबरों के लिए हमें फेसबुक और ट्विटर पर फॉलो करें व हमारे यूट्यूब चैनल को भी सब्सक्राइब करें)