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Modi Surname Case: राहुल गांधी को सुप्रीम कोर्ट से बड़ी राहत, सजा पर रोक

Modi Surname Case: Big relief to Rahul Gandhi from Supreme Court, ban on punishment
rahul-gandhi-supreme-court नई दिल्लीः राहुल गांधी (Rahul Gandhi) को सुप्रीम कोर्ट से बड़ी राहत मिली है। शुक्रवार को मोदी सरनेम केस में राहुल गांधी की सजा पर उच्चतम न्यायालय ने रोक लगा दी है। सुप्रीम कोर्ट में राहुल गांधी का पक्ष वरिष्ठ अधिवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी ने रखा। मोदी सरनेम मामले में कांग्रेस नेता राहुल गांधी (Rahul Gandhi) को मिली सजा को निलंबित करने की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। इस दौरान कोर्ट ने राहुल गांधी के खिलाफ बहस कर रहे शिकायतकर्ता पूर्णेश मोदी के वरिष्ठ वकील महेश जेठमलानी से पूछा कि अधिकतम सजा देने के लिए कोर्ट ने क्या आधार दिए हैं। इससे कम सज़ा भी दी जा सकती थी। इससे संसदीय क्षेत्र के लोगों का अधिकार भी बरकरार रहेगा। इसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने राहुल गांधी (Rahul Gandhi) को सुनाई गई सजा पर रोक लगा दी है। सुनवाई के दौरान कोर्ट ने कहा कि अपील लंबित रहने तक सजा पर रोक रहेगी। ये भी पढ़ें..मोदी सरनेम मानहानि मामले में राहुल गांधी का SC में जवाबी...

फैसले से प्रभावित होंगे मतदाता

न्यायमूर्ति बी.आर. गवई, पी.एस. नरसिम्हा, और प्रशांत कुमार मिश्रा की पीठ ने सुनवाई के दौरान कहा, “अगर कोई निर्वाचन क्षेत्र बिना प्रतिनिधित्व का हो जाता है, तो क्या यह (सजा निलंबित करने के लिए) एक प्रासंगिक आधार नहीं है? ट्रायल जज द्वारा अधिकतम सज़ा देने की आवश्यकता पर किसी ने कुछ नहीं कहा। इससे न केवल एक व्यक्ति का अधिकार प्रभावित हो रहा है, बल्कि निर्वाचन क्षेत्र के पूरे मतदाता प्रभावित हो रहे हैं।'' इसके अलावा, पीठ ने टिप्पणी की कि यदि गांधी को 1 वर्ष, 11 महीने और 29 दिन की सजा दी गई होती, तो उन्हें संसद सदस्य के रूप में अयोग्य नहीं ठहराया जाता।

राहुल गांधी के वकील ने दी दलील

गांधी की ओर से पेश वरिष्ठ वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने ट्रायल कोर्ट के दोषसिद्धि को "अजीब" फैसला बताया और सुप्रीम कोर्ट के कई अन्य फैसलों का हवाला देते हुए कहा कि मामले में गांधी की दोषसिद्धि को निलंबित किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा, ''पीड़ित केवल भाजपा पदाधिकारी या कार्यकर्ता ही है।''

राफेल केस में सुप्रीम कोर्ट की चेतावनी का भी जिक्र

दूसरी ओर, मानहानि मामले में शिकायतकर्ता भाजपा विधायक की ओर से पेश वरिष्ठ वकील महेश जेठमलानी ने कहा कि गांधी का इरादा 'मोदी' उपनाम वाले प्रत्येक व्यक्ति को सिर्फ इसलिए बदनाम करना था क्योंकि यह प्रधानमंत्री के उपनाम के समान है। उन्होंने कहा, ''आपने (राहुल गांधी) दुर्भावना से समाज के एक पूरे वर्ग को बदनाम किया है।'' उन्होंने राफेल मामले पर अवमानना ​​कार्यवाही में 2019 में सुप्रीम कोर्ट द्वारा गांधी को दी गई चेतावनी का भी उल्लेख किया। ये भी पढ़ें..Modi defamation case: राहुल गांधी की याचिका पर 4 अगस्त को...

क्या है पूरा मामला

  • 13 अप्रैल 2019 में राहुल गांधी ने कर्नाटक में एक चुनावी रैली के दौरान टिप्पणी की थी कि ‘सभी चोरों का सामान्य उपनाम मोदी कैसे है’।
  • राहुल गांधी की इस टिप्पणी के खिलाफ गुजरात के भाजपा विधायक पूर्णेश मोदी ने गुजरात की एक अदालत में अपील दायर की थी।
  • इस मामले में सुनवाई के बाद अदालत ने राहुल गांधी को दो साल कैद की सजा सुनाई थी। कोर्ट के फैसले के बाद गांधी को सांसदी से हाथ धोना पड़ा था।
  • 15 जुलाई को अदालत के फैसले के खिलाफ राहुल गांधी ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था।
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