Maharashtra: मुंबई: महाराष्ट्र के मंत्री छगन भुजबल ने गुरुवार को कहा कि राज्य सरकार को राज्य में आरक्षण की सीमा 10 से 12 फीसदी बढ़ाकर मराठा समुदाय को आरक्षण देना चाहिए। छगन भुजबल ने साफ किया कि वह मराठा समुदाय को आरक्षण देने के खिलाफ नहीं हैं, लेकिन मराठा समुदाय को पिछले दरवाजे से ओबीसी कोटा आरक्षण देने की कोशिश की जा रही है, जिसका वह विरोध कर रहे हैं।
छगन भुजबल ने पत्रकारों से कहा कि 50 फीसदी आरक्षण पहले ही दिया जा चुका है। इसके बाद मोदी सरकार ने ईवीएस (आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग) को 10 फीसदी आरक्षण दिया है। इस आरक्षण को 10 से 12 फीसदी और बढ़ाया जाए और मराठा समाज को आरक्षण दिया जाए, यही हमारी मांग है। छगन भुजबल की इस मांग के बाद राज्य सरकार की ओर से अभी तक कोई प्रतिक्रिया व्यक्त नहीं की गई है।
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हालाँकि, छगन भुजबल ने पहले सभी मराठा समुदाय को कुनबी जाति प्रमाण पत्र देने का विरोध किया था। इसके बाद मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने कहा था कि सभी मराठा समुदाय के लोगों को कुनबी सर्टिफिकेट नहीं दिया जाएगा। इस संबंध में अनावश्यक भ्रम फैलाया जा रहा है। सीएम शिंदे ने कहा कि राज्य सरकार मराठा समुदाय को अलग से आरक्षण देने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है। राज्य सरकार की भूमिका किसी भी तरह मराठा समुदाय को आरक्षण प्रदान करना है। इसलिए ओबीसी और मराठा समुदाय के लोगों को धैर्य रखना चाहिए और इस बात का ध्यान रखना चाहिए कि आपस में कोई टकराव न हो।
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