JMM welcomes Supreme Court's decision on electoral bonds: झारखंड मुक्ति मोर्चा (जेएमएम) के महासचिव और प्रवक्ता सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने गुरुवार को चुनावी बॉन्ड पर बड़ा फैसला सुनाया है। इस फैसले के दायरे में सभी राजनीतिक दल आ रहे हैं। सुप्रीम कोर्ट ने चुनावी बांड के जरिए राजनीतिक दलों को मिलने वाले चंदे पर रोक लगा दी है।
उन्होंने कहा कि एसबीआई को चुनावी बॉन्ड के जरिए चंदा देने वालों के नाम चुनाव आयोग को देने होंगे और चुनाव आयोग उन नामों की सूची अपनी वेबसाइट पर साझा करेगा। सुप्रीम कोर्ट का फैसला स्वागत योग्य है। भट्टाचार्य गुरुवार को हरभूमि स्थित पार्टी कार्यालय में संवाददाता सम्मेलन में बोल रहे थे।
'पूंजीपतियों को बचाने के लिए हुई शुरुआत'
उन्होंने कहा कि 2014 के बाद पूंजीपतियों को बचाने के लिए बीजेपी ने चुनावी बॉन्ड की शुरुआत की। भट्टाचार्य ने कहा कि 2014 से पहले नरेंद्र मोदी विशेष विमान से पूरे देश का दौरा कर रहे थे। वह विमान एक विशेष समूह द्वारा दिया गया था। उस ग्रुप का नाम था अडानी। पूर्व वित्त मंत्री ने 2017 में एक कानून बनाया। चुनावी बॉन्ड ऐसे लाए गए जैसे ये कोई क्रांतिकारी कदम हो।
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सभी ने आपत्ति जताई थी आपत्ति
इस चुनावी बॉन्ड को जारी करने का काम एसबीआई को दिया गया था। बॉन्ड कोई भी व्यक्ति खरीद सकता है और किसी भी पार्टी को दे सकता है। इस बॉन्ड पर सभी ने आपत्ति जताई थी। इसके बावजूद इसे 2018 में जारी किया गया। इसे आरटीआई से भी अलग रखा गया। उन्होंने कहा कि अब सुप्रीम कोर्ट ने एसबीआई को तीन सप्ताह के भीतर चुनावी बॉन्ड खरीदने वालों के नाम जारी करने का निर्देश दिया है। 13 मार्च एक ऐतिहासिक दिन होगा। जब देश को बेचने और खरीदने वालों के नाम उजागर होंगे।
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