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भांग की खेती को वैद्य करने की तैयारी में सरकार, औषधीय गुणों पर रिपोर्ट देगी कमेटी

Himachal government's big decision, ban on felling of trees of these species including mango
  Himachal-Pradesh-Chief-Minister-Sukhwinder-Singh-Sukhu शिमला: हिमाचल प्रदेश में भांग की खेती को जल्द ही वैध किया जा सकता है। प्रदेश विधानसभा ने मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू की सलाह पर इस मुद्दे पर विधायकों की कमेटी गठित करने की घोषणा की है। विधानसभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया ने विधायक पूर्ण चंद ठाकुर द्वारा प्रदेश में भांग के औषधीय गुणों को देखते हुए जनहित में दूसरे राज्यों की तर्ज पर भांग की खेती को वैध बनाने को लेकर नियम 101 के तहत लाए गए संकल्प पर हुई चर्चा के बाद कमेटी गठित करने की घोषणा की। यह कमेटी बागवानी एवं राजस्व मंत्री जगत सिंह नेगी की अध्यक्षता में गठित की गई है तथा विधायक हंस राज, मुख्य संसदीय सचिव सुंदर ठाकुर, विधायक पूर्ण ठाकुर और डॉ. जनक राज इस कमेटी के सदस्य होंगे। विधानसभा अध्यक्ष ने कहा कि यह कमेटी एक माह के भीतर अपनी रिपोर्ट देगी। इससे पूर्व, संकल्प पर हुई चर्चा का जवाब देते हुए मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि प्रदेश सरकार भांग की पत्तियों और बीज के उपयोग पर पूरी जानकारी लेने के बाद कानून बनाने पर विचार करेगी। उन्होंने इसके लिए विधानसभा की एक कमेटी बनाने का सुझाव दिया, जिसे विधानसभा अध्यक्ष ने स्वीकार कर लिया। मुख्यमंत्री ने कहा कि यह कमेटी भांग के औषधीय गुणों और इसके उपयोग तथा दुरुपयोग पर एक माह के भीतर रिपोर्ट देगी। रिपोर्ट देने से पहले कमेटी ऐसे क्षेत्रों का दौरा करेगी, जहां बड़े पैमाने पर भांग की अवैध खेती होती है। मुख्यमंत्री ने कहा कि केंद्र सरकार ने राजस्थान, मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश के कुछ जिलों में भांग की खेती को कानूनी दर्जा दे रखा है। इसके अलावा उत्तराखंड ने भी औद्योगिक प्रयोग के लिए भांग की खेती हो रही है। उन्होंने कहा कि एनडीपीएस एक्ट में राज्य को भांग की खेती और इसे लाने-ले जाने का अधिकार दिया गया है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकारें औद्योगिक और बागवानी के उद्देश्य के लिए भी भांग की खेती कर सकती है। मुख्यमंत्री ने कहा कि भांग के यदि वास्तव में बहुत अच्छे औषधीय गुण है तो कमेटी के माध्यम से सरकार इन्हें ज्यादा अच्छे ढंग से समझ सकती है और आगे निर्णय ले सकती है। ये भी पढ़ें..पत्नी की आत्महत्या के बाद एसआई ने खुद को मारी गोली, पुलिस ने शुरू की जांच इससे पहले संकल्प पेश करते हुए विधायक पूर्ण चंद ठाकुर ने कहा कि यदि सरकार भांग की खेती को कानूनी दर्जा देती है तो इससे ग्रामीण इलाकों में आर्थिकी का सुधार होगा और राज्य सरकार की आय भी बढ़ेगी। उन्होंने कहा कि भांग की इस्तेमाल दवाओं में होता है और इससे कई उत्पाद भी तैयार होते हैं। उन्होंने कहा कि जब कई और राज्य इसे कानूनी दर्जा दे सकते हैं तो हिमाचल को भी इस दिशा में आगे बढ़ना चाहिए। संसदीय कार्य मंत्री सुंदर सिंह ठाकुर ने कहा कि भांग की खेती को कानूनी दर्जा देने के लिए वह पहले भी आवाज उठाते रहे हैं और आज भी इसकी मांग कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि भांग के औद्योगिक और दवा उद्योग के लिए इस्तेमाल को मंजूरी मिलनी चाहिए। (अन्य खबरों के लिए हमें फेसबुक और ट्विटर पर फॉलो करें व हमारे यूट्यूब चैनल को भी सब्सक्राइब करें)