चंडीगढ़ः हरियाणा के कुरुक्षेत्र में चल रहा किसान आंदोलन (farmers protest) मंगलवार की रात समाप्त हो गया। किसान नेताओं और प्रशासन के बीच कई घंटों तक चली वार्ता के बाद सहमति बनी। मंगलवार को दिन के समय किसान नेताओं और प्रशासन के बीच तीन बार बैठक हुई लेकिन बेनतीजा रही। किसान नेताओं द्वारा बुधवार से संघर्ष तेज करने के ऐलान के बाद प्रशासन ने देर रात किसान नेताओं को बातचीत के लिए बुलाया और कई घंटों तक वर्ता होती रही।
किसान नेताओं और सरकार के बीच बनी सहमती
कई घंटे चल मैराथन बातचीत के बाद किसान नेताओं (farmers protest) और प्रशासन के बीच समझौता हो गया। जिला उपायुक्त शांतनु शर्मा व एसपी किसानों को समझाने धरना स्थल पहुंचे। किसान नेताओं के मुताबिक सूरजमुखी की एमएसपी अब 5000 रुपये प्रति क्विंटल होगी। इसके अलावा किसानों के खाते में भावांतर भरपाई योजना के तहत 1400 रुपये प्रति क्विंटल की राशि भेजी जाएगी।
बैठक में इस बात पर सहमति बनी है कि किसानों पर लगे सभी मुकदमे खारिज किए जाएंगे। गुरनाम सिंह चढूनी और अन्य किसान नेताओं को कल शाम तक रिहा कर दिया जाएगा। किसान नेता राकेश टिकैत ने धरना खत्म करने की घोषणा करते हुए कहा कि आज रात ही सड़कें साफ कर दी जाएंगी। शासन की ओर से प्रशासन ने तरह-तरह के आश्वासन दिए हैं। उनके पूरा होने का इंतजार करेंगे। अगर सरकार घोषणाओं को पूरा नहीं करती है तो फिर से संघर्ष की रणनीति बनेगी।
पुसिस ने प्रदर्शनकारियों पर करना पड़ा वाटर कैनन का इस्तेमाल
प्रदर्शनकारियों को तितर-बितर करने के लिए पुलिस ने वाटर कैनन का इस्तेमाल किया। राष्ट्रीय राजमार्ग को किसानों के कब्जे से मुक्त कराने के लिए पुलिस ने किया लाठीचार्ज। साथ ही भाकियू (चारौनी गुट) के 9 नेताओं को गिरफ्तार किया है। इन नेताओं पर दंगा और अवैध जमावड़े सहित कई गंभीर धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया था। किसान इन नेताओं की रिहाई की मांग पर भी अड़े थे।
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